लापरवाह अफसरों के कारण तहसील दिवस से लोगों का हुआ मोहभंग! अधिकारियों से नाराज एसडीएम ने डीएम को भेजी रिपोर्ट

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हल्द्वानी में तहसील दिवस अधिकारियों की लापरवाही से मजाक बनकर रह गया है। अधिकारी तहसील दिवस को गंभीरता से नहीं ले रहे हैं, जिसका खामियाजा लोगों को भुगतना पड़ रहा है। लोगों की समस्याओं का निस्तारण नहीं हो पा रहा है. कुछ अधिकारी हस्ताक्षर करके नदारद हो गए।

जनता की समस्याओं का निराकरण करने के लिए राज्य सरकार ने हर महीने के पहले मंगलवार को तहसील दिवस का आयोजन करने का निर्देश दिया है। जहां तहसील में मजिस्ट्रेट के साथ-साथ सभी विभागों के अधिकारी मौजूद रहकर आम जनता की समस्याओं का मौके पर सुनवाई कर निराकरण करें लेकिन तहसील दिवस अब मजाक बनकर रह गया है। तहसील दिवस से आम लोगों का धीरे-धीरे मोहभंग हो रहा है। आम जनता तहसील दिवस के मौके पर तहसील में नहीं पहुंच रही है। हल्द्वानी तहसील में तहसील दिवस का आयोजन हुआ लेकिन हल्द्वानी एसडीएम मनीष कुमार जनता की फरियाद सुनने के लिए अपने कुर्सी पर बैठ तो गए, लेकिन फरियादी नहीं पहुंचे। तहसील दिवस में मात्र 2-3 फरियादी ही अपनी फरियाद लेकर पहुंचे। इस मौके पर सभी विभागों के अधिकारियों को बुलाया गया था लेकिन कई महत्वपूर्ण विभाग अधिकारी नहीं पहुंचे। पीडब्ल्यूडी के एक अधिकारी पहुंचे मगर रजिस्टर में साइन कर गायब हो गए। जिसका उप जिलाधिकारी ने संज्ञान लेते हुए डीएम को पत्र लिखने को कहा है। एसडीएम मनीष कुमार ने कहा कि अधिकारियों की लापरवाही के चलते लोगों का तहसील दिवस से मोहभंग हो रहा है। उन्होंने तहसील में फरियादी नहीं आने के सवाल पर कहा कि ऐसा लग रहा है कि अधिकारी लोगों की समस्याओं का निराकरण नहीं कर पा रहे हैं जिससे लोग तहसील दिवस पर नहीं आ रहे हैं।

उन्होंने कहा कि तहसील दिवस में विद्युत विभाग जल संस्थान के साथ-साथ कई ऐसे विभाग थे जिनके अधिकारी नहीं पहुंचे। ऐसे में रिपोर्ट वह जिलाधिकारी को भेज रहे हैं। उन्होंने कहा कि तहसील दिवस में आए कुछ अधिकारियों से पूर्व में तहसील दिवस में लोगों की समस्याओं को लेकर उनको पत्र भेजा गया था। लेकिन उनके द्वारा भी समस्याओं के निराकरण संबंधित किसी तरह का पत्र नहीं दिखाया गया। जिससे साफ लगता है कि अधिकारी लापरवाही कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि तहसील दिवस में किसी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। जो भी अधिकारी तहसील दिवस में नहीं पहुंचेंगे तो उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई की जाएगी। साथ ही तहसील दिवस की रिपोर्ट वह जिलाधिकारी को सौंपेंगे, जिससे की लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई हो सके।


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